Friday, 19 June 2009

वो तेरा अतीत हूँ /

अंत हूँ ,अनन्त हूँ ;

आकर्षण हूँ , आमंत्रण हूँ ;

जो तू वश में ना कर सकी ,

वो तेरा अत्यंतर हूँ /

अरस्तु हूँ , अगस्त्य हूँ ;

अनुगामी हूँ , अभ्यस्त हूँ ;

जो तू ना पढ़ सकी ;

वो तेरा ही अर्थ हूँ /

अमूर्त हूँ , अभिभूत हूँ ;

अविरक्त हूँ , अभिव्यक्ति हूँ ;

जिसे ना तू जीत सकी ,

वो तेरी आशक्ति हूँ /

आगाज हूँ , आवाज हूँ ;

आस हूँ , अनायास हूँ ;

जिसे ना तू मिटा सकी ;

वो तेरा अहसास हूँ /

अभिज्ञान हूँ , अभिमान हूँ ;

आकार हूँ , अविकार हूँ ;

जो तू न संभाल सकी ,

वो तेरा अधिकार हूँ /

अमान्य हूँ , अवमान्य हूँ ;

अरीती हूँ , अप्रिती हूँ ;

जो स्वीकार ना कर सकी ,

वो तेरा अतीत हूँ /

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