बीते हुए इस साल से
विदा लेते हुए
मैंने कहा -
तुम जा तो रहे हो
पर
आते रहना
अपने समय का
आख्यान बनकर
पथराई आँखों और
खोई हुई आवाज़ के बावजूद
आकलन व पुनर्रचना के
हर छोटे-बड़े
उत्सव के लिए ।
त्रासदिक
दस्तावेजों के पुनर्पाठ
व
संघर्ष के
इकबालिया बयान के लिए
तुम्हारी करुणा का
निजी इतिहास
बड़ा सहायक होगा ।
बारिश की
बूँदों की तरह
तुम आते रहना
पूरे रोमांच और रोमांस के साथ
ताकि
लोक चित्त का इंद्रधनुष
सामाजिक न्याय चेतना की तरंगों पर
अनुगुंजित- अनुप्राणित रहे ।
अंधेरों की चेतावनी
उनकी साख के बावजूद
प्रतिरोधी स्वर में
सवालों के
शब्दोत्सव के लिए
तुम्हारा आते रहना
बेहद जरूरी है ।
तुम जा तो रहे हो
पर
आते रहना
ताकि
ये दाग - दाग उजाले
विचारों की
नीमकशी से छनते रहें
संघर्ष और सामंजस्य से
प्रांजल होते रहें
जिससे कि
सुनिश्चित रहे
पावनता का पुनर्वास ।
----- मनीष कुमार मिश्रा ।
विदा लेते हुए
मैंने कहा -
तुम जा तो रहे हो
पर
आते रहना
अपने समय का
आख्यान बनकर
पथराई आँखों और
खोई हुई आवाज़ के बावजूद
आकलन व पुनर्रचना के
हर छोटे-बड़े
उत्सव के लिए ।
त्रासदिक
दस्तावेजों के पुनर्पाठ
व
संघर्ष के
इकबालिया बयान के लिए
तुम्हारी करुणा का
निजी इतिहास
बड़ा सहायक होगा ।
बारिश की
बूँदों की तरह
तुम आते रहना
पूरे रोमांच और रोमांस के साथ
ताकि
लोक चित्त का इंद्रधनुष
सामाजिक न्याय चेतना की तरंगों पर
अनुगुंजित- अनुप्राणित रहे ।
अंधेरों की चेतावनी
उनकी साख के बावजूद
प्रतिरोधी स्वर में
सवालों के
शब्दोत्सव के लिए
तुम्हारा आते रहना
बेहद जरूरी है ।
तुम जा तो रहे हो
पर
आते रहना
ताकि
ये दाग - दाग उजाले
विचारों की
नीमकशी से छनते रहें
संघर्ष और सामंजस्य से
प्रांजल होते रहें
जिससे कि
सुनिश्चित रहे
पावनता का पुनर्वास ।
----- मनीष कुमार मिश्रा ।
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