Saturday, 18 September 2010

उम्र बड़ी आशाएं घटी

उम्र बड़ी आशाएं घटी
कुछ पल मुस्काए कुछ आंसू लाये
कभी सजी जीवन  की सरगम
कभी सताए दुःख औ क्रंदन
एक जीवन में  जिए हम कितने जनम
घटती सांसे औ बड़ता बंधन

No comments:

Post a Comment

Share Your Views on this..

हिन्दी सिनेमा की वैश्विक लोकप्रियता और राज कपूर

 राज कपूर शताब्दी वर्ष के उपलक्ष्य में लाल बहादुर शास्त्री संस्कृति केंद्र, भारतीय दूतावास, ताशकंद,उज़्बेकिस्तान एवं ताशकंद स्टेट युनिवर्सिट...