ONLINE HINDI JOURNAL
Wednesday, 14 April 2010
ना रुसवां हूँ तुझसे ना कोई लडाई है ;
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ना रुसवां हूँ तुझसे ना कोई लडाई है ;
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ना ही तेरी मोहब्बत से कोई बेवफाई है
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जिंदगी ने बस राहें बदल दी ;
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आज कल कोई और मेरे नशेमन पे छाई है
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