प्रेम --------------
एक ऐसा शब्द है जो,
जीवन को मखमली स्पर्श देता है.
जिन्दगी की धुप में,
सुकून के पल देता है.
इंसान को प्रेम ही,
इंसानियत की ताशीर देता है.
यह प्रेम ही है जो,
हमे गीता और क़ुरान देता है.
प्रेम ही हमे,
संवेदनाओं का वसंत देता है.
मेरे भाई ,
यह प्रेम ही है जो,
सिर्फ देता और देता है .
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Wednesday 10 February 2010
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